सोने की चमक हुई तेज, अभी भी हो सकती है तगड़ी कमाई, जानें कैसे करें गोल्ड में निवेश?

[ad_1]

सोना इस साल ताबड़तोड़ रिकॉर्ड बना रहा है. अभी फिर से पीली धातु की कीमतें नया रिकॉर्ड बना चुकी हैं. सोना पहले ही इस साल रिटर्न देने के मामले में शेयरों को मात दे चुका है, लेकिन अभी एनालिस्ट मान रहे हैं कि इससे मोटी कमाई की जा सकती है. आइए जानते हैं कि सोना कितनी कमाई करा सकता है और इसमें किस तरह निवेश करना चाहिए…

78 हजार के पार निकल सकता है सोना

एमसीएक्स पर वायदा कारोबार में सोना अभी 75 हजार रुपये प्रति 10 ग्राम से ऊपर निकला हुआ है. मल्टी कमॉडिटी एक्सचेंज पर सोना शाम 3 बजे 0.15 फीसदी की बढ़त के साथ 75,115 रुपये पर कारोबार कर रहा था. उससे पहले सोना नए ऑल टाइम हाई का रिकॉर्ड बना चुका है और इंट्राडे में 76 हजार के स्तर को पार कर चुका है. एनालिस्ट उम्मीद कर रहे हैं कि इस साल फेस्टिव सीजन में सोना 78 हजार रुपये तक जा सकता है. मतलब अगले एक-डेढ़ महीने में सोने की कीमतों में अच्छी तेजी की गुंजाइश बन रही है.

सोने ने बनाया ये नया रिकॉर्ड

सीएनबीसी टीवी18 की एक रिपोर्ट के अनुसार, मंगलवार को अमेरिकी बाजार में स्पॉट गोल्ड का भाव 2,638.37 डॉलर प्रति औंस के नए उच्च स्तर तक पहुंच गया. वहीं यूएस गोल्ड फ्यूचर का भाव 2,661.60 डॉलर प्रति औंस तक ऊपर गया था. मंगलवार को भारतीय बाजार में भी सोना ऑल टाइम हाई पर पहुंच गया था. रिपोर्ट के अनुसार, 24 कैरेट सोने का भाव कल 76,330 रुपये प्रति 10 ग्राम तक चढ़ गया था.

फिजिकल गोल्ड खरीदने के नुकसान

गोल्ड में निवेश के 2 तरीके हैं- एक डिजिटल, दूसरा फिजिकल. बहुत सारे लोग इमोशनल वैल्यू के चलते फिजिकल गोल्ड पसंद करते हैं, लेकिन निवेश के लिहाज से डिजिटल गोल्ड खरीदना उपयुक्त माना जाता है. फिजिकल गोल्ड के साथ चोरी होने का खतरा रहता है. इससे बचने के लिए बैंक लॉकर का सहारा लेते हैं तो उसके लिए आपको भुगतान करना पड़ जाता है. दूसरा सबसे बड़ा नुकसान बेचते समय मेकिंग चार्ज और मिलावट आदि के नाम पर होने वाली कटौती होती है. डिजिटल गोल्ड इन दोनों दिक्कतों को दूर करता है.

बंद हो सकता है सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड

यही कारण है कि सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड हालिया सालों में गोल्ड इन्वेस्टमेंट का लोकप्रिय साधन बनकर उभरा. हालांकि अब इस विकल्प के बंद होने की बात चल रही है. अगस्त में सरकारी सूत्रों के हवाले से विभिन्न मीडिया रपटों में बताया गया कि सरकार एसजीबी को बंद कर सकती है. सरकार इस स्कीम को महंगा और जटिल मान रही है. इसी कारण सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड को बंद करने पर विचार किया जा रहा है.

गोल्ड ईटीएफ में निवेश करने के फायदे

अगर यह सच है तो निवेशकों के पास गोल्ड इन्वेस्टमेंट के लिए ईटीएफ शानदार विकल्प बन जाते हैं. गोल्ड ईटीएफ में निवेश करना कई लिहाज से फायदेमंद साबित होता है. गोल्ड ईटीएफ की यूनिट को शेयर की तरह इलेक्ट्रॉनिक फॉर्म में डीमैट खाते में रखा जा सकता है. बीएसई और एनएसई पर इनकी ट्रेडिंग होती है. मतलब कारोबारी घंटों के दौरान इन्हें कभी भी बेचा-खरीदा जा सकता है. गोल्ड ईटीएफ में स्टोरेज का खर्च कम है. इसमें मेकिंग चार्ज या मिलावट का कोई झंझट नहीं है. आप छोटी रकम से भी गोल्ड ईटीएफ में निवेश कर सकते हैं.

ये भी पढ़ें: त्योहारों से पहले चमका सोना, 76 हजार के पार निकला भाव, बना नए हाई लेवल का रिकॉर्ड

[ad_2]

Source link

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *