मोदी सरकार ने सस्ता कर दिया एलपीजी सिलेंडर, तो बढ़ गई देश में रसोई गैस की खपत

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LPG Subsidy: मोदी सरकार ने प्रधानमंत्री उज्जवला योजना के लाभार्थियों और सामान्य उपभोक्ताओं के लिए  एलपीजी रिफिल कराना सस्ता कर दिया. एलपीजी सिलेंडर पर सब्सिडी की रकम बढ़ाने के केंद्र सरकार के फैसले के बाद देश में रसोई गैस सिलेंडर की डिमांड में रिकॉर्ड इजाफा देखने को मिल रहा है. 

29 अगस्त, 2023 को मोदी कैबिनेट ने सामान्य और पीएम उज्जवला योजना के लाभार्थियों के लिए एलपीजी सिलेंडर 200 रुपये सस्ता कर दिया. सरकार के इस फैसले के बाद सितंबर महीने में औसतन रोजाना रिफिल कराने वाले एलपीजी सिलेंडर की संख्या 11 लाख के पार जा पहुंची. अक्टूबर 2023 में पीएम उज्जवला योजना के लाभार्थियों के लिए 100 रुपये रसोई गैस और भी सस्ता कर दिया गया. जिसके बाद अक्टूबर में एलपीजी गैस की डिमांड बढ़ने के बाद रोजाना 10.3 सिलेंडर की रिफिल देखने को मिली है. और ये माना जा रहा है कि एलपीजी सिलेंडर रिफिल कराने की तादाद में और भी बढ़ोतरी देखने को मिल सकती है.   

पांच राज्यों में विधानसभा चुनावों से ठीक पहले केंद्र की मोदी सरकार ने एलपीजी सिलेंडर की कीमतों घटा दी. प्रधानमंत्री उज्जवला योजना के लाभार्थियों को एलपीजी सिलेंडर 500 रुपये सस्ता यानि 600 रुपये में मिल रहा है. बाकी एलपीजी ग्राहकों को एलपीजी सिलेंडर रिफिल कराने पर 900 रुपये चुकाने पर रहे हैं जो कि पहले 1100 रुपये देने पड़ रहे थे. 

केवल केंद्र सरकार ही नहीं बल्कि कई राज्यों ने भी अपने यहां रसोई गैस सिलेंडर सस्ता कर दिया है. राजस्थान की कांग्रेस सरकार पीएम उज्जवला योजना के लाभार्थियों को केवल 500 रुपये में सिलेंडर उपलब्ध करा रही है. उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने प्रधानमंत्री उज्जवला योजना के लाभार्थियों दिवाली के मौके पर मुफ्त सिलेंडर देने का ऐलान किया है. मध्य प्रदेश की शिवराज सरकार ने भी 450 रुपये में सिलेंडर देने का वादा किया है. कांग्रेस ने अपने चुनावी घोषणा पत्र में मध्य प्रदेश छतीसगढ़ में 500 रुपये में एलपीजी सिलेंडर देने का वादा किया है.  

एक मई 2016 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने धुएं से मुक्ति दिलाने के उद्देश्य से मुफ्त एलपीजी कनेक्शन उपलब्ध कराने के लिए प्रधानमंत्री उज्जवला योजना को लॉन्च किया था. इस योजना के कुल 9.59 करोड़ से ज्यादा एक्टिव लाभार्थी हैं. योजना के लॉन्च के सात साल से ज्यादा हो जाने के बाद एलपीजी सिलेंडर के दामों में भारी बढ़ोतरी के बाद योजना का लाभ उठाने वाले की संख्या में कमी आ गई थी. सरकार के आंकड़ों के ही मुताबिक पीएम उज्जवला के लाभार्थी महंगे रसोई गैस के चलते सिलेंडर रिफिल नहीं करा रहे थे. 2022 में सरकार ने संसद को बताया कि बीते पांच सालों में 4.13 करोड़ प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना के लाभार्थियों ने एक भी एलपीजी सिलेंडर रिफिल नहीं कराया है. कुल 7.67 करोड़ प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना के ऐसे लाभार्थी हैं जिन्होंने केवल एक एलपीजी सिलेंडर रिफिल कराया था. 

महंगे रसोई गैस के चलते सरकार को चुनावी नुकसान होने का भी अंदेशा था. यही वजह है कि मोदी सरकार ने रसोई गैस पर भारी भरकम सब्सिडी देने का ऐलान कर दिया. अब ये उम्मीद की जा रही कि सरकार के इस फैसले के चलते एलपीजी सिलेंडर के खपत में और भी इजाफा देखने को मिल सकता है.

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